बच्चों को दे कोरोना वायरस से बचने की टिप्स

 नई दिल्ली : आज कल पूरा देश ख़तरनाक कोरोना वायरस से लड़ रहा है, हर कोई अपने चेहरे पर मास्क लगाकर घूम रहा है। अधिकतर कंपनियों ने अपने कर्मचारियों को घर से काम करने अनुमति दी, बाजार बंद कर दिए गए, सिनेमाघर बंद हैं, साप्ताहिक बाजार बंद हैं, स्कूल और कॉलेज बंद हैं, लोग थोक में किराने का सामान खरीद रहे हैं, यहाँ तक ​​कि संसद भी कोरोना वायरस के डर से 31 मार्च, 2020 तक बंद है।



भारत में कोरोना वायरस के कुल 194 मामले पाए गए हैं और इस ख़तरनाक वायरस के कारण 3 लोगों की मौत हुई है। कोरोना को फैलने से रोकने के लिए सरकार सख्त कदम उठा रही है। प्रत्येक नागरिक को कोरोना वायरस के बारे में बताया जाता है क्योंकि सरकार ने घोषणा की है कि अगर ये उपाय काम नहीं करते हैं, तो देश को लॉक डाउन स्थिति का सामना करना पड़ेगा।


वायरस के खतरे से बचने लिए बड़े तथा समझदार लोग तो उससे बचने के लिए सावधानी बरतेंगे लेकिन  उन बच्चों के बारे में क्या जिन्हे ये तक नहीं पता की  वायरस से उन्हें कितना खतरा है। माँ बाप अपने बच्चो को समझानें  पहले अध्यापक होते है लेकिन क्योकि बच्चे अपना ज़्यादातर समय स्कूल में बिताते है तो स्कूल अध्यापक का कर्तव्य है की वो उन्हें बताये कि क्या सही और क्या गलत ?


CORONA से बचने के उपाए CORONA शब्द में ही छुपे है :


C: Clean your Hands


O: Off from Gatherings


R: Raise your Immunity


O: Stick to wear Masks


N: No to Shake Hands


A:  Avoid Rumors


पेरेंट्स  को इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि जो खाद्य पदार्थों उनके बच्चे खा रहे है उससे उनकी बीमारी से लड़ने की क्षमता में सुधार होता हो, पेरेंट्स को अपने बच्चों को इनडोर खेलों में उनकी रुचि बनाएं ताकि वे खेलने के लिए न बाहर जाएं तथा ज्यादा से ज्यादा समय घर में ही रहे, वे अपने बच्चों को 20 सेकंड के लिए हाथों को अच्छी तरह से धोने के लिए प्रोत्साहित कर सकते हैं ।


एक पीआर विशेषज्ञ के अनुसार


पुनीत कुमार कनौजिया साक्षर मीडिया सोलूशन्स एंड कंसल्टेंट्स प्राइवेट लिमिटेड के संस्थापक और निदेशक  का कहना है कि सोशल मीडिया पर फैलने वाली अफवाहों पर विश्वास न करें और कोरोना के बारे में झूठे संदेश भेजना बंद करें यदि कोई संदेश आपको पूरी तरीके से ठीक नहीं लगता, तो गूगल के माध्यम से इसे जांचें और यदि यह सच है तो आप इसे अपने दोस्तों और रिश्तेदारों को भेज सकते हैं । कृपया झूठे संदेश अपने दोस्तों व रिश्तेदारों को न शेयर करे इससे जनता में  भ्रम की स्थिति पैदा होगी । उन ढोंगी बाबा पर विश्वास न करे जो बनावटी  "तावीज़" प्रदान करते हैं, बस सावधानी बरतें और सुरक्षित रहें।


पुनीत कुमार कनौजिया साक्षर मीडिया सोलूशन्स एंड कंसल्टेंट्स प्राइवेट लिमिटेड के संस्थापक और निदेशक  का कहना है कि सोशल मीडिया पर फैलने वाली अफवाहों पर विश्वास न करें और कोरोना के बारे में झूठे संदेश भेजना बंद करें यदि कोई संदेश आपको पूरी तरीके से ठीक नहीं लगता, तो गूगल के माध्यम से इसे जांचें और यदि यह सच है तो आप इसे अपने दोस्तों और रिश्तेदारों को भेज सकते हैं । कृपया झूठे संदेश अपने दोस्तों व रिश्तेदारों को न शेयर करे इससे जनता में  भ्रम की स्थिति पैदा होगी, ऐसे झूठे सन्देश फ़ैलाने क लिए सरकार ने तीन साल की जेल और 10,000 रुपय का जुरमाना तय किया है।  


अगर आपको लगता है की किसी ने आपको कोई फेक मैसेज और वीडियो भेजा है तो आप उसको व्हाट्सएप नंबर: 89500-94600 पर रिपोर्ट कर सकते है और अगर आपके भेजे हुए वीडियो में से किसी भी वीडियो के सूत्र पर एफ.आई. आर दर्ज होती है तो आपको सरकार से 10,000 रुपय का इनाम मिल सकता है।    


क्या है कोरोना वायरस ?


कोरोना वायरस, वायरस, का एक विस्तृत परिवार है, जो पशु या मनुष्य में बीमारी का कारण बन सकता है। कई कोरोना वायरस सामान्य सर्दी -जुकाम से लेकर गंभीर बीमारियों जैसे मिडिल ईस्ट रेस्पिरेटरी सिंड्रोम (एम.. आर. एस.) और सीवियर एक्यूट रेस्पिरेटरी सिंड्रोम (एस..आर.एस) आदि लोगो में फेफड़ों में इन्फेक्शन का कारण  बनते हैं। सबसे नए कोरोना वायरस से फेलने वाली बीमारी का नाम COVID-19 है ।


COVID-19 हाल ही में खोजे गए कोरोना वायरस के कारण होने वाला संक्रामक रोग है। चीन के वुहान में फैलने से पहले इस वायरस या बीमारी के बारे में किसी को नहीं पता था ।


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