किसी भी परिस्थिति में दिव्यांगजन की रिक्ति को अन्य श्रेणियों द्वारा नही भरा जाएगा


पीडब्ल्यूबीडी आवेदकों को दिव्यांगजनों की विभिन्न श्रेणियों से संबंधित रेलवे जोन में अधिसूचित रिक्तियों के अनुसार आवेदक की मैरिट/टर्न के अनुसार नियुक्ति की जायेगी। किसी भी खाली पद को अन्य गैर-पीडब्ल्यूबीडी आवेदक से नही भरा जायेगा। प्रत्येक रेलवे/आरआरसी के लिए श्रेणी-वार योग्यता अंक/कट-ऑफ के संबंध में स्थिति संबंधित वेबसाइटों पर प्रदर्शित की जाएगी आवेदक अपनी शिकायतें दे सकते है जिनकी जांच सावधानी पूर्वक की जायेगी। भर्ती प्रक्रिया अभी भी जारी है। अधिक पीडब्ल्यूबीडी आवदेकों की आने वाले सप्ताहों में नियुक्ति होगी किसी भी स्थिति में दिव्यांगजन के लिए आरक्षित पद को किसी अन्य श्रेणी से नही भरा जायेगा। किन्ही विशेष परिस्थितियों में जहां पीडब्ल्यूबीडी की रिक्तियों को भरा नही जा सका है। उन्हें अगली भर्ती चक्र/ अधिसूचना में शामिल किया जायेगा। भारतीय रेलवे के पास निर्धारित कोटे के अनुसार पहचान किए गए पदों के लिए दिव्यांगजनों की भर्ती के लिए एक स्पष्ट प्रतिबद्धता है।


नयी दिल्ली -  दिव्यांगजन और उनके समर्थक 23 अक्तूबर 2019 से मंडी हाउस के पास धऱने पर बैठे हैं। ये लोग पर्सन्स विद् बेंचमार्क डिसएबिलिटीज(पीडब्ल्यूबीडी) के लिए आरक्षित पदों के लिए अभी हाल में लेवल 1 भर्ती में भारतीय रेलवे द्वारा की गयी अनियमितताओं के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं। भारतीय रेलवे ने फरवरी 2018 में विभिन्न रेलवे में पर लगभग 63,000 पदों को भरने के लिए एक केंद्रीय भर्ती अधिसूचना जारी की थी। इस अधिसूचना में बेंचमार्क डिसएबिलिटी (पीडब्ल्यूबीडी) वाले व्यक्तियों के पद भी शामिल थे।


इसके बाद, संशोधित पीडब्ल्यूबीडी अधिनियम के प्रावधानों के आधार पर, पीडब्ल्यूबीडी श्रेणियों(नए पेश किए गए मल्टी डिसेबिलिटी श्रेणी सहित) के लिए 4% आरक्षण को अनिवार्य कर दिया था। उम्मीदवारों को आवेदन करने के लिए एक अतिरिक्त विंडो को अधिसूचित किया गया था। इसके बाद, भर्ती के लिए  प्रत्येक चार (पीडब्ल्यूबीडी) श्रेणियों में से प्रत्येक के लिए रिक्त 1%  रिक्तियों का वितरण किया गया। इससे पीडब्ल्यूबीडी की कुल संख्या बढ़कर लगभग 2500  हो गयी है।


मुख्य आयुक्त दिव्यांगजन के न्यायालय के सामने प्रर्दशनकारियों की शिकायत रिक्ति प्रतिशता में संशोधन के बारे में थी। इसके अलावा अहर्ता अंक और दस्तावेज सत्यापन के बारे में संदेश के बारे में कुछ रेलवे क्षेत्रों में भी कुछ दिव्यांगजनों की विशेष शिकायतें थी। 23 अक्तूबर 2019 को इस न्यायालय के सामने सुनवाई के लिए इस संबंध में 5 लिखित प्रतिवेदन प्रस्तुत किये गये।


प्रदर्शनकारियों के प्रतिनिधियों की एक बैठक सामाजिक न्याय मंत्रालय के सचिव के कार्यालय में रेलवे बोर्ड के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ आयोजित की गयी। यह बैठक शिकायतों को समझने, रेलवे की स्थिति और की गयी कार्रवाई की जानकारी देने, तथा यह आश्वासन देने के लिए कि गयी की  उनकी सब शिकायतों की जांच तथा उचित शिकायतों का समयबद्ध तरीके से समाधान करने के बारे में जानकारी देने के लिए आयोजित की गयी थी। भारतीय रेलवे ने अपनी यह प्रतिबद्धता भी दोहराई कि पीडब्ल्यूबीडी भी भर्ती के संबंध में सभी अनुदेशों का पालन किया जायेगा।


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