प्रतियोगिता परीक्षा में संस्कृत के छात्र -छात्राओं का सफल होना संस्कृत के पढ़ने पढ़ाने वालों के लिए हर्ष का विषय

० योगेश भट्ट ० 
नयी दिल्ली। 
एन . टी .ए. द्वारा आयोजित प्रतियोगिता परीक्षा में ऐसे श्रेष्ठ प्रतिशत के साथ संस्कृत के छात्र -छात्राओं का सफल होना संस्कृत के पढ़ने पढ़ाने वालों के लिए बड़ा ही हर्ष का विषय है । सच में संस्कृत के छात्र - छात्राओं ने इसमें अपनी ऊर्जस्वी मेधा को प्रदर्शित किया है । केन्द्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय , दिल्ली द्वारा विभिन्न स्नातकोत्तर तथा स्नातक स्तर के पाठ्यक्रमों की प्रवेश परीक्षा आयोजित की गयी थी उसका परिणाम राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी द्वारा घोषित कर दिया गया है । विश्वविद्यालय ने स्नातक स्तर पर शिक्षा शास्त्र (बीएड),शिक्षा आचार्य (एम एड ) , साहित्य (अलंकार वर्ग), साहित्य (काव्य वर्ग) , पौरोहित्य/धर्मशास्त्र,पाली,वेद, प्राचीन व्याकरण/नव्य व्याकरण,पुराण- इतिहास तथा फलित/सिद्धान्त ज्योतिष विषयों को लेकर प्रतियोगिता परीक्षा का आयोजन किया था

 जिसमें गजेन्द्र तिवारी ,अर्पिता प्रियदर्शिनी,शरद चौबे , वेंकटेश प्रधान ,अर्पण भट्टाचार्य,मुकेश मेहता,मिटिश दूबे,बन्द्रू नाग साईं, वैष्णवी ,वन्दिता मोहन्ती तथा ओंकार शर्मा के अतिरिक्त पेपर कोड पीजीक्यूपी 48 में कदम रुचिका शाहजी को टौपर घोषित किया गया । इसके अतिरिक्त राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी ने इस विश्वविद्यालय के स्नातक स्तर का भी परीक्षा परिणाम घोषित कर दिया है । विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो श्रीनिवास वरखेड़ी ने सभी सर्वोत्तम स्थान प्राप्त तथा सफल छात्र-छात्राओं को हार्दिक बधाई दी है और उनके उज्जवल भविष्य की कामना की है ।  प्रो वरखेड़ी ने यह भी कहा है कि ऐसी परीक्षा प्रणाली से देश के सभी छात्र -छात्राओं को अपनी प्रतिभा प्रदर्शन का समान अवसर मिलता है । 

इससे एक भारत श्रेष्ठ भारत का सपना भी साकार होगा । उनका मानना है कि एन . टी .ए. द्वारा आयोजित प्रतियोगिता परीक्षा में ऐसे श्रेष्ठ प्रतिशत के साथ संस्कृत के छात्र -छात्राओं का सफल होना संस्कृत के पढ़ने पढ़ाने वालों के लिए बड़ा ही हर्ष का विषय है । सच में संस्कृत के छात्र - छात्राओं ने इसमें अपनी ऊर्जस्वी मेधा को प्रदर्शित किया है ।परीक्षा नियंत्रक प्रो पवन कुमार ने कहा है कि कुलपति के मार्गदर्शन में विश्वविद्यालय के विविध प्रान्तों में स्थित इसके सभी परिसरों में नामांकन की तैयारियां पूरी की जा रही है ।

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