दिल्ली में 10वां फेस्टिवल भव्य तरीके से संपन्न स्टाल मालिकों की हुई अच्छी कमाई

० योगेश भट्ट ० 
नई दिल्ली   इस चार दिवसीय कार्यक्रम का आयोजन कार्निवाल के रूप में आयोजित किया गया था। उसमें कई स्टालों पर क्षेत्र के भोजन और हस्तशिल्प, लाइव संगीत और नृत्य प्रदर्शन और ओपन माइक प्रदर्शित किए गए थे।   वहीं दूसरी ओर हितधारक, सरकारी अधिकारी, टूर ऑपरेटर एवं विकास भागीदारक क्षेत्र के व्यापार और अर्थव्यवस्था को आगे बढाने पर गंभीर चर्चा करते रहे। जिससे उस क्षेत्र मैं मजबूत निवेश माहौल बन सके एवं भारत के पर्यटन स्थलों में उसका नाम शामिल हो। नॉर्थ ईस्ट फेस्टिवल के मुख्य आयोजक श्यामकानु महंत ने कहा, "जैसा कि सकारात्मक अनुमान था, आयोजन शानदार रूप से सफल रहा। उन्होंने कहा कि हमने इस आयोजन में हजारों आगंतुकों को आते देखा। यह निश्चित रूप से एक शानदार आगाज था। हमारी पूरी टीम ने इस उत्सव को आयोजित करने के लिए कई महीनों तक लगातार काम किया है और उन्हें सकारात्मक प्रतिक्रिया मिली है कि वे सभी प्रयासों के लायक है। 
लोग अब इस क्षेत्र का दौरा करने और हमारी समृद्ध संस्कृति और विरासत का पता लगाने में रुचि दिखा रहे हैं। कई उद्यमियों ने स्टॉल लगाकर अच्छा कारोबार किया है। हम सभी कलाकारों, उद्यमियों, सरकारी अधिकारियों, हितधारकों, दिल्ली के लोगों और प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से शामिल प्रत्येक व्यक्ति को उनके समर्थन के लिए धन्यवाद देते हैं। हम 11वें आयोजन की घोषणा करने के लिए ज्यादा इंतजार नहीं करेंगें।"
2014 से नॉर्थ ईस्ट फेस्टिवल का हिस्सा रही खाती अक्सोमिया एक्साज स्टॉल ने चार दिनों में 2.5 लाख रुपये कमाए। मालिक प्रियांकू भारद्वाज ने कहा, "डक फ्राई, पोर्क विद टिल, और स्मोक्ड पोर्क कुछ सबसे ज्यादा बिकने वाले सामना थे।

 लोग असम के काजी नेमू (नींबू) और भूत जोलोकिया (राजा मिर्च) का स्वाद लेने के लिए उत्साहित थे। मोमोज को तीखी भूत जोलोकिया चटनी के साथ परोसा गया। सर्दियों की ठंड को मात देने के लिए क्लियर सूप लोगों का पसंदीदा रहा था। हम होने वाले कमाई से काफी खुश हैं।"टी टॉक्स की पूजा और लिजा ने प्रतिदिन 250 से अधिक कप चाय बेचीं। लिजा ने कहा, "यह पहली बार है जब हम एक व्यावसायिक उद्यम चला रहे हैं। हम शुरुआत में बेहद घबराए हुए थे, लेकिन आगंतुकों से हमें जिस तरह का रिस्पांस मिला, उससे अब हमें उत्तरी दिल्ली में एक चाय कैफे खोलने के लिए प्रोत्साहित किया है। हमारी किस्मों जैसे ब्लूपिया टी, ऑर्थोडॉक्स ब्लैक, मसाला टी और लेमनग्रास टी को सभी ने पसंद किया। 

हमने वास्तव में निवेशित धन को दोगुना कर दिया। हम इस अवसर के लिए उत्सव के आयोजकों के बहुत आभारी हैं।क्यूजेल इंडिया की संस्थापक अनामिका देब डेका भी एनईएफ में पहली बार आई हैं। उनके तांबे के आभूषणों को लोगो ने बहुत पसंद किया।  उन्होंने कहा कि इस साल एनईएफ में मुझे जबरदस्त अच्छी प्रतिक्रिया मिली। मुझे खुशी है कि दो कठिन वर्षों के बाद मेरे व्यवसाय ने अंततः कुछ सकारात्मक गति प्राप्त की है। मुझे सिक्किम और गुवाहाटी के अन्य साथी उद्यमियों से उत्सव में तीन सौदे मिले हैं। यहां तक ​​कि दिल्ली के स्थानीय लोगों ने भी नॉर्थ ईस्टर्न एथनिक ज्वैलरी के लिए अपना अपार प्यार दिखाया है।

फेस्ट में मानस ज्योति बोरा का ऑर्गेनिक टी फार्मिंग स्टॉल उनके अनूठे चाय मिश्रणों, खासकर व्हाइट टी के लिए आकर्षण का केंद्र बन गया था। उन्होंने कहा कि हमने बड़ी मात्रा में व्हाइट टी बेची और कई ऑर्डर भी प्राप्त किए। अन्य बेस्ट-सेलर्स में लाल और काले चावल शामिल हैं। हम इन उत्पादों को कनाडा ( जो हमारा सबसे बड़ा बाजार है ) और कुछ और देशों को भी निर्यात करते हैं। नॉर्थ ईस्ट फेस्टिवल में मैं बहुत अच्छे संपर्क बनाने में सफल रहा। यह हमारे जैसे उद्यमियों के लिए अपने व्यवसायिक क्षितिज का विस्तार करने का एक शानदार मंच है।

डीबी के वारड्रॉप के लखीमी बरुआ और बिप्लोबी गोगोई ने भी अचार और कपड़ों पर भारी मुनाफा होने पर खुशी जताई। बिप्लोबी ने कहा, “हमारे अचार, स्थानीय शैली के पुरोना नेमू निमोख दिया, जोल्फई, भूत जोलोकिया को बहुत पसंद किया गया। लोगों ने हमारे जैम और मुरब्बे के साथ-साथ असम की बुनाई भी खरीदी। कुल मिलाकर हमने दो लाख रुपये कमाए, जो हमारी अपेक्षाओं से काफी अधिक था।
नॉर्थ ईस्ट फेस्टिवल के 10वें आयोजन मे सभी ने न केवल क्षेत्र की संस्कृतियों और परंपराओं का मजा उठाया, बल्कि रचनात्मक और भावुक उद्यमियों को एक व्यापार खिड़की भी प्रदान की। 

आयोजकों, निवेशकों और आगंतुकों ने जमीनी स्तर से उपजे विचारों की सराहना की। उद्यमियों को उम्मीद है कि नॉर्थ ईस्ट फेस्टिवल जैसे आयोजन संभावित हितधारकों के साथ संबंध बनाने में मदद करेंगे, जिनका समर्थन आने वाले वर्षों में व्यापक सामाजिक भलाई के लिए उनकी संभावनाओं में सुधार कर सकता है।

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