मुक्त मंच की चर्चा में : राजनीति और अपराध के गठबंधन से पेपरलीक बढ़ा
० आशा पटेल ० जयपुर । प्रतियोगी परीक्षाओं में पेपर लीक का नेक्सस और समाधान’ विषय पर मुक्त मंच की संगोष्ठी योगिनी डॉ॰ पुष्पलता गर्ग के सान्निध्य और भाषाविद डॉ. नरेंद्र शर्मा कुसुम की अध्यक्षता में हुई। संगोष्ठी का संयोजन ‘शब्द संसार’ के अध्यक्ष श्रीकृष्ण शर्मा ने किया। डॉ. कुसुम ने कहा कि हमारा लोकतंत्र लोग तंत्र बन कर रह गया है। परिणाम स्वरुप लोकतांत्रिक मूल्यों का पराभव होने लगा और देश नैतिकता के रास्ते को छोड़ ऐसे रास्ते पर चल पड़ा है जो लोक मंगल की ओर नहीं जाता। राजनीति और अपराध के अनुबंधन में परीक्षाओं के प्रश्न पत्रों की गोपनीयता भंग होना और एक आपराधिक गठबंधन द्वारा पेपर लीक कराना सहज कार्य बन गया हैं। यह व्यवस्था देश के सामाजिक ढांचे को तार तार कर रही है। युवकों में कुंठाएं जन्म ले रही हैं। न्याय के प्रति अनास्था बढ़ रही है। कंप्यूटर विज्ञान के प्रवीण श्री दामोदर चिराणिया ने कहा कि समाधान कई हैं बशर्ते नियत में पारदर्शिता हो। उन्होने कहा कि प्रत्येक परीक्षा के लिए परीक्षा तिथि को बंद लिफाफे में ही प्रश्न पत्र दिया जाए। पूर्व बैंकर एवं चिंतक इंद्र भंसाली ने कहा सरकारी सेवाओं का आक