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सेफेक्स केमिकल्स ने शानदार वृद्धि दर्ज की, 782 करोड़ रुपये की आय हासिल की

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० योगेश भट्ट ०  नई दिल्ली   : देश की प्रमुख एग्रोकेमिकल कंपनी सेफेक्स केमिकल्स ने वित्त वर्ष 21 के दौरान 782 करोड़ रुपये की आय (रेवेन्‍यू) हासिल कर अपनी विकास की शानदार यात्रा को जारी रखा है। पिछले 12 वर्षों में यह कृषि विज्ञान में सबसे महत्वपूर्ण वृद्धि में से एक है और इसके साथ ही सेफेक्‍स केमिकल्‍स ने अब इस वित्त वर्ष के अंत तक 1,000 करोड़ रुपये के मूल्यांकन वाली कंपनी बनने का लक्ष्‍य तय किया है। एग्रोकेमिकल सेक्‍टर में अनेक चुनौतियों के बीच खाद्य सुरक्षा प्रक्रियाओं के प्रभावी प्रबंधन में लचीलापन बनाए रखने के लिए अवसरों में उल्‍लेखनीय वृद्धि देखने को मिली है। इन चुनौतियों में क्‍लाइमेट में हो रहे बदलाव और कहीं कम तो कहीं बहुत ज्‍यादा बारिश आदि जैसी समस्‍यायें शामिल हैं और इनकी वजह से वित्‍त वर्ष 2022 में मांग में काफी अप्रत्‍याशित उतार-चढ़ाव आया है। इसके अलावा, वैश्विक कोरोना महामारी के कारण लगे राष्ट्रव्यापी / राज्य-व्यापी लॉकडाउन की वजह से परिवहन में रुकावट आई। इसके कारण मजदूर संकट, कर्मचारियों के काम को फिर शुरु करने की चिंता, आपूर्ति श्रृंखला संबंधी चिंताओं, महंगाई और कमोडिटी की

स्वयं सहायता समूहों के लिए दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन

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० इरफान राही ०  नयी दिल्ली - दक्षिणी पश्चिमी दिल्ली जिलाधीश कार्यलय, कापसहेड़ा एवं राष्ट्रीय आजीविका मिशन दक्षिण पश्चिम दवारा 2 दिवसीय आजीविका कार्यशाला का आयोजन सभागार, दीनदयाल कॉलेज, द्वारका दिल्ली किया में आयोजित हुआ । इस आजीविका कार्यशाला मे राष्ट्रीय आजीविका मिशन दक्षिण पश्चिम जिले के अंतर्गत 150 स्वयं सहायता समहू के सदस्यों ने हिस्सा लिया और उन्हें राष्ट्रीय आजीविका मिशन की नीतियों और महत्व को बताया गया। कार्यक्रम का शुभआरम्भ एवं दीप प्रजलित जिलाधीश कापसहेड़ा श्री हेमंत कुमार (IAS), शील कांत शर्मा (SMM) , फादर बीजू संथापक बोस्को दिल्ली, DDU कॉलेज के प्रिंसिपल खेमचंद जैन, माधुरी वार्ष्णेय चैयरमेन भास्कराचार्य कॉलेज, मधुरकर वार्ष्णेय समाजसेवी, NCPI विभाग से शिवांग , मंथन आनंद दिल्ली सचिवालय द्वारा किया गया कार्यक्रम की अध्यक्षता नवीन कोटिया (कम्यूनिटी ऑर्गनाइज NULM), रेनू अग्रवाल एवं सूरज कांत द्वारा करी गयी। विभाग की तरफ से रुक्मिणी CMM- NULM ने सभी अतिथियों का धन्यवाद किया साथ ही उनसे सहयोग की अपेक्षा भी करी गई। कार्यशाला में नवीन कोटिया जी ने सभी स्वयं सहायता समहू के सदस्यों को पा

डाॅ.कल्पना पाण्डेय की सद्य प्रकाशित कृति 'अनावरण' हृदय को उन्मुक्त और अनावृत किया

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०  शकुंतला मित्तल ०  प्रतिष्ठित,वरिष्ठ साहित्यकार ,अति विनम्र,स्नेहिल व्यक्तित्व और मृदु भाषी मेरी छोटी बहन समान आदरणीया प्रिय कल्पना पाण्डेय जी की पुस्तक कुछ समय पूर्व प्राप्त हुई।तत्काल पढ़ कर अपनी प्रतिक्रिया देना चाहती थी पर फोन के टंकण में कुछ तकनीकी खराबी आ गई। लीजिए प्रस्तुत है मेरी समीक्षा एक वरिष्ठ साहित्यकार की पुस्तक अनावरण के लिए हृदय की मुक्तावस्था का सफर कराती कविताएँ हैं अनावरण वरिष्ठ कवयित्री और साहित्यकार डाॅ.कल्पना पाण्डेय  की सद्य प्रकाशित कृति 'अनावरण' मेरे पास आई तो शीर्षक पढ़ते ही हृदय में आचार्य रामचंद्र शुक्ल का यह कथन गूंज उठा," हृदय की मुक्तावस्था रसदशा कहलाती है और हृदय की इसी मुक्ति की साधना के लिए मनुष्य की वाणी जो शब्द विधान करती आई है,उसे कविता कहते हैं।" मैंने उत्सुकतावश कवयित्री की कविताओं को पढ़ते हुए उनके रचना संसार में प्रवेश किया तो इस बात को गहराई से अनुभूत किया कि डाॅ कल्पना पाण्डेय ने हृदय पर चढ़े स्वार्थ,लोभ,मोह अपना-पराया के सभी आवरण उतार कर हृदय को पहले उन्मुक्त और अनावृत किया है और समाज,देश,प्रकृति सबके साथ शुद्ध भावनात्मक

एफआईएमटी कालेज में कामनवेल्थ गेम्स डाक्यूमेंट्री फिल्म का पोस्टर एवं टीजर लॉन्च

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० योगेश भट्ट ०  नयी दिल्ली -  एफआईएमटी- पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग के स्टूडेंट्स द्वारा कामनवेल्थ गेम्स पर निर्मित डाक्यूमेंट्री का पोस्टर एवं टीजर कालेज की निदेशक डॉ सरोज व्यास ने लांच किया।गौरतलब है कि लेखक-पत्रकार-एसिसटेंट प्रोफेसर एस.एस.डोगरा के निर्देशन में बारह विद्यार्थियों की टीम ने मिलकर "एन एमेजिंग जर्नी आफ कामनवेल्थ गेम्स" डाक्यूमेंट्री को दो महीने की मेहनत से तैयार किया है। इस अवसर पर, डॉ.प्रोफेसर एस.पी.सिंह, डॉ शालिनी कुमार, डॉ शिखा शर्मा, एसिस्टेंट प्रोफेसर अनुप्रिया, सुषमा, पूजा सहित विद्यार्थियों रमन, अक्षय,ईशा,युक्ता, आदित्य, प्रखर,आर्यन, संजनी, हार्दिक ने भी उपस्थित रहकर कार्यक्रम की गरिमा बढ़ाई। डॉ सरोज व्यास ने अपने संबोधन में उक्त उपलब्धि के लिए पूरे बीजेएमसी विभाग तथा विद्यार्थियों को बधाई देते हुए उज्जवल भविष्य की कामना की।

आजादी के अमृत महोत्सव में गुमनाम नायकों की प्रतिष्ठा

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० योगेश भट्ट ०  नई दिल्ली : भारत अपनी आजादी के अमृत महोत्सव में कुशल राजनीतिक नेतृत्व के कारण सभी जगह और हर मोर्चे पर प्रतिष्ठित हो रहा है। सुनियोजित दुष्प्रचार के जरिए जो विमर्श गढ़े गए उनकी कलई खुल रही है। सत्ता के इशारे पर चाहे राजशाही ने हो या लोकतांत्रिक निरंकुशता ने ,जिसने भी देश की आजादी के महानायकों को हाशिए पर पहुंचाया ,देश उनकी वास्तविकता को भांपकर अब धूल चटा रहा है । अपने एक ही जीवन में मृत्युदंड की सजा पाने वाले वीर दामोदर सावरकर हों या 84 दिन की भूख हड़ताल कर अंग्रेजी दासता और निरंकुश राजशाही के विरुद्ध बिगुल बजाने वाले टिहरी के मुक्तिनायक अमर बलिदानी श्रीदेव सुमन।  इस परंपरा के असंख्य राष्ट्रभक्तों के सत्कर्म और समर्पण कोई नहीं भुला सकता। देश में नई शिक्षा नीति में मातृभाषा पर जोर देने के साथ ऐसे गुमनाम ऐतिहासिक प्रेरक व्यक्तित्वों के अध्ययन पर अमल आजादी के अमृत पर्व पर हो रहा है। ये विचार स्वातंत्र्यवीर श्रीदेव सुमन की पुण्यतिथि पर पर्वतीय लोकविकास समिति और हिम उत्तरायणी पत्रिका द्वारा प्रेस क्लब ऑफ इंडिया में "आजादी का अमृत महोत्सव और सुमन की टिहरी"विषय पर आयो

नेप - 2020 को लेकर सीएसयू तथा इग्नू के बीच मेमोरेंडम औफ अन्डरस्टेंडिंग -कुलपति प्रो वरखेड़ी '

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० योगेश भट्ट ०  नयी दिल्ली । कुलपति प्रो श्रीनिवास वरखेड़ी केन्द्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय तथा इग्नू के बीच एक ' समझौता ज्ञापन ' के अवसर पर बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि यह समझौता तो अग्नि की तरह संकेतित है जो वस्तुत: चेतना की तरह काम करेगी । उन्होंने कहा कि इग्नू जहां दुनिया की प्रतिष्ठित विश्वविद्यालयों में से एक है ,वहीं केन्द्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय भी संस्कृत के डोमेन में सबसे बड़ा विश्वविद्यालय है । अतः दोनों विश्वविद्यालयों के इस पांच वर्षीय अकादमिक समझौते से संस्कृत वैश्विक स्तर पर पहुंचेगी । इसके लिए हर संभव यह प्रयास करना होगा कि इसका लाभ संस्कृत के प्रति छात्र-छात्रा तक पहुंच सके । अतः विश्वविद्यालय के सभी परिसरों में छात्र -छात्रा के लिए सजगता अभियान भी चलाना होगा क्योंकि अपने विश्वविद्यालय के द्वारा उठाया गया कोई भी कदम का प्रभाव बड़ा ही प्रभावी तथा दूरगामी होता है ।प्रो वरखेड़ी ने यह भी कहा कि यह समझौता ज्ञापन राष्ट्रिय शिक्षा नीति - 2020 को ध्यान में रखते हुए किया गया है जिसके माध्यम से संस्कृत को लेकर मल्टी डीसीप्लीनरी (भगनी भाषा) पाठ्यक्रम बनाने पर भी बल दे

प्रेगनेंसी को बेहतर बनाने के लिए ये डाइट गर्भवती महिलाओं के लिए होगी वरदान - डॉ चंचल शर्मा

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स्वस्थ आहार गर्भवती माँ और गर्भस्थशिशु दोनों के लिए महत्वपूर्ण है। क्योंकि गर्भावस्था के दौरान गर्भवती महिला जो खाती और पीती है वह उसके बच्चे के पोषण का मुख्य स्रोत है। आशा आयुर्वेदा के डाइट विशेषज्ञ विशेषज्ञ सलाह देते हैं। कि होने वाली मां के आहार में विभिन्न प्रकार के स्वस्थ खाद्य पदार्थ और पेय पदार्थ शामिल होने चाहिए। ताकि बच्चे के विकास के लिए आवश्यक महत्वपूर्ण पोषक तत्व प्रदान किए जा सकें। हमारे देश में करीब 35 लाख शिशु आसामयिक (untimely) (सही समय से पहले) जन्म लेते हैं, 15 लाख बच्चे विकार लेकर पैदा होते हैं, और हर साल 10 लाख बच्चों को विशेष नवजात शिशु देखभाल इकाइयों (एसएनसीयू) से छुट्टी दी जाती है। ऐसे नवजात शिशुओं को मृत्यु, स्टंटिंग और विकास में देरी का बहुत अधिक जोखिम होता है। आज प्रेगनेंसी डाइट की जागरुकता के कारण भारत ने newborn babies की मृत्यु दर कम करने में उन्नति की है। नवजात शिशुओं की मृत्यु में भारत की हिस्सेेदारी, जो वर्ष 1990 में दुनिया में नवजात शिशुओं की मृत्यु का एक तिहाई थी, आज कुल एक चौथाई से भी कम है। वर्ष 1990 की तुलना में वर्ष 2016 में भारत में हर महीने , new