"खलिश" कहानी संग्रह का हुआ विमोचन

० संवाददाता द्वारा ०
नयी दिल्ली - प्रणेता साहित्य संस्थान के संस्थापक,महासचिव, कथाकार एस जी एस सिसोदिया के कहानी संग्रह ' खलिश' का भव्य विमोचन वरिष्ठ साहित्यकार मुजफ्फर इकबाल सिद्दीकी की अध्यक्षता में गूगल मीट पर सफलता पूर्वक हुआ। आयोजन मे लघुकथा की सशक्त हस्ताक्षर श्रीमती कांता राॅय ने मुख्य अतिथि के रूप में मंच को गरिमा प्रदान की। विशिष्ट अतिथि की भूमिका साहित्यकार नरेन्द्र सिंह ने किया। इस आयोजन का कुशल संयोजन और शानदार संचालन प्रणेता साहित्य संस्थान की अध्यक्ष शकुंतला मित्तल ने किया । 

अतिथि स्वागत के पश्चात वंदना दयाल ने सुमधुर कंठ से माँ शारदे की वंदना की।सभी अतिथियों,समीक्षकों,प्रणेता पदाधिकारियों और अन्य अनेक गणमान्य साहित्यिक विभूतियों के हाथों पुस्तक खलिश का विमोचन हुआ और मंच पर उत्साह,उमंग के साथ करतल ध्वनि करते हुए सबने लेखक एस जी एस सिसोदिया को अपनी बधाई और शुभकामनाएँ प्रेषित की। तत्पश्चात कवयित्री वीणा अग्रवाल ने,रेडियो आर्टिस्ट और  लेखिका अंजू खरबंदा और लेखिका अंजली खेर ने 'खलिश ' पुस्तक की कहानी को विकलांग विमर्श की कहानियाँ बताते हुए सभी कहानियों की विस्तृत समीक्षा की।

सभी समीक्षकों का मत था कि ये कहानियाँ सकारात्मक,संदेशपरक और समाज की विकलांग छोटी सोच और दृष्टिकोण को बदलने में अहम भूमिका निभाएंगी।पाठक के दृष्टिकोण से लाडो कटारिया,पुष्पा शर्मा कुसुम,परिणीता सिन्हा,सरिता गुप्ता और तरुणा पुंडीर ने अपनी पसंदीदा कहानियों का सार और कुछ अंश पढ़ कर सुनाए।सभी ने कहानियों की भाषा को सरल,सरस,रोचक और जिज्ञासा को बढ़ाती कह लेखक की प्रशंसा की।अंत में कहानी संग्रह के लेखक एस जी एस सिसोदिया ने सभी का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि समाज के विविध पक्षों में विकलांग या दिव्यांग समाज के लोगों के भेदभाव पूर्ण व्यवहार से उपजी पीड़ा और चुभन से अनुभूत भावों ने इन कहानियों को जन्म दिया।

विशिष्ट अतिथि  नरेन्द्र सिंह नीहार ने लेखक की सभी कहानियों को एक नव इतिहास रचती कहानियाँ कह उन्हें बधाई दी और सभी समीक्षकों ,पाठकों और संचालन की प्रशंसा की । मुख्य अतिथि कांता राॅय ने लेखक सिसोदिया को बधाई देते हुए कहा कि समाज की सोच को बदलने के साथ ये सभी कहानियाँ हमें विकलांग समाज के प्रति सहानुभूति के स्थान पर उन्हें सहयोग दे कर उन्हें समाज में सम्मानित और प्रतिष्ठित करने का संदेश देती हैं। उन्होंने प्रणेता साहित्य संस्थान की गतिविधियों की प्रशंसा भी की।

आयोजन की अध्यक्षता कर रहे साहित्यकार मुजफ्फर इकबाल सिद्दीकी ने लेखक को बधाई देने के साथ साथ प्रत्येक समीक्षक,पाठक और संचालक के प्रति जो खूबसूरत भाव अभिव्यक्त किए,उसने सबको मंत्र मुग्ध कर दिया। दर्शक दीर्घा में बहुत से गणमान्य प्रतिष्ठित साहित्यकार पूरे तीन घंटे जुड़े रहे,जो आयोजन की सफलता दर्शाते हैं।  साहित्यिक विभूतियों में आभा राजदान,अनामिका सिंह,डाॅ नितिन सेठी,ज्योति चंद्र,सुरेश चंद कुशवाहा,डाॅ ऋचा यादव,राजकुमार शर्मा,कर्नल गिरिजेश सक्सेना,हनुमान प्रसाद मिश्रा,डाॅ ममतेश रानी,विजयकांत,रमेश सेठी,डाॅ भावना शुक्ल,डाॅ कृष्णा आर्या और रवीन्दर शर्मा  ने अपनी गरिमामयी उपस्थिति दी।अंत में प्रणेता साहित्य संस्थान की अध्यक्ष,आयोजन की संचालिका शकुंतला मित्तल ने सबका आभार व्यक्त किया।

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