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कोलकाता बंदरगाह ट्रस्‍ट का नया नाम श्‍यामा प्रसाद मुखर्जी ट्रस्‍ट

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कोलकाता - भारत में प्रमुख बंदरगाहों के नाम शहर अथवा उस कस्‍बे के नाम पर हैं जहां वे स्थित हैं, हांलाकि विशेष मामलों में अथवा जाने-माने नेताओं के योगदान पर गौर करने के कारण कुछ बंदरगाहों पहले भी महान राष्‍ट्रीय नेताओं के नाम पर नया नाम दिया गया। न्‍हेवा शेवा बंदरगाह को सरकार ने 1988 में जवाहरलाल नेहरू बंदरगाह ट्रस्‍ट नाम दिया। तूतीकोरन बंदरगाह ट्रस्‍ट का नाम बदलकर वर्ष 2011 में वी.ओ. चिदम्‍बरनार बंदरगाह ट्रस्‍ट कर दिया गया और एन्‍नौर बंदरगाह लिमिटेड को जाने माने स्‍वाधीनता सेनानी और तमिलनाडु के पूर्व मुख्‍यमंत्री के.कामराजार के सम्‍मान में कामराजार बंदरगाह लिमिटेड नाम दे दिया गया। हाल में 2017 में कांडला बंदरगाह का नाम बदलकर दीनदयाल बंदरगाह कर दिया गया। इसके अलावा अनेक हवाई अड्डों के नाम भारत के महान नेताओं के नाम पर रखे गए हैं।  केन्‍द्रीय मंत्रिमंडल ने कोलकाता बंदरगाह का नया नाम श्‍यामा प्रसाद मुखर्जी बंदरगाह करने की अनुमति दे दी है।  कोलकाता बंदरगाह ट्रस्‍ट के बोर्ड ऑफ ट्रस्‍टी ने 25 फरवरी 2020 को हुई अपनी बैठक में एक प्रस्‍ताव पारित कर विधिवेत्‍ता, शिक्षक, विचारक और जन साधारण के नेत

विदेशी नागरिकों को भारत में आने के लिए वीजा और यात्रा प्रतिबंधों में छूट

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विदेशी नागरिकों की उपरोक्त श्रेणियों को विदेशों में भारतीय दूतावासों/ डाक से, जो भी लागू हो, एक नया व्यापार वीजा या रोजगार वीजा प्राप्त करना होगा। विदेशों में भारतीय मिशनों/डाक द्वारा जारी किए गए वैध दीर्घकालिक बहु-प्रविष्टि व्यापार वीज़ा [खेल के लिए बी -3 वीजा के अलावा] रखने वाले विदेशी नागरिकों को संबंधित भारतीय मिशन/पोस्ट से नई वैधता के साथ व्यापार वीज़ा प्राप्त करना होगा। ऐसे विदेशी नागरिकों को पहले से प्राप्त किसी भी इलेक्ट्रॉनिक वीजा के बल पर भारत की यात्रा करने की अनुमति नहीं होगी। नयी दिल्ली - सरकार ने विदेशी नागरिकों की कुछ श्रेणियों को भारत में आने की इजाजत देने के लिए वीजा और यात्रा प्रतिबंधों में छूट देने के मामले पर विचार किया है। यह फैसला किया गया कि विदेशी नागरिकों की निम्नलिखित श्रेणियों को भारत आने की इजाजत दे दी जाए।  विदेशी व्यवसायी  जो गैर निर्धारित व्‍यावसायिक/ चार्टर्ड विमानों में बिजनेस वीज़ा (स्पोर्ट्स के लिए बी-3 वीज़ा के अलावा) पर भारत आ रहे हैं। विदेशी हेल्थकेयर पेशेवर ,  स्वास्थ्य शोधकर्ता ,  इंजीनियर और तकनीशियन  जो प्रयोगशालाओं और कारखानों सहित भारतीय स्व

सरकार को सबक लेने की जरुरत

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पहाड़ी गाय की नस्ल और उसके दूध के गुण

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कोरोना से बचने के उपाय

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शहद प्राकृतिक स्वास्थवर्धक आहार भी है

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मधुमक्खी पालन एवं शहद के औषधीय गुण,शहद का प्रयोग प्राचीन काल से औषधि के रूप में किया जाता रहा है।पर्वतीय क्षेत्रों में पाया जाने वाला शहद सबसे अच्छा माना जाता है। पहाड़ी क्षेत्र की मधुमक्खी छोटे आकार की होती है।जो दूर दूर से पुष्पों से पराग आसानी से संग्रहित कर सकती हैं। प्राचीन काल में मधुमक्खी घर की दीवारों पर बने आल्मरा,कोष्ठक में पाली जाती थी।जिन पर एक संकरा छेद बना होता था जहां से वह आसानी से आ और जा सकती थी। वर्तमान में इसके लिए डिब्बे तैयार किए जा रहे हैं। शहद पोषक तत्वों से परिपूर्ण होता है।शहद में ऊर्जा, कार्बोहाइड्रेट शर्करा,वसा, प्रोटीन, पानी,नायसिन, विटामिन, कैल्शियम, लोहतत्व, मैग्नीशियम फास्फोरस,पैटाथैनिक अम्ल,पोटोशियम आदि समस्त लवण पदार्थ पाते जाते हैं। अन्य सभी मधु पोषक तत्वों की भांति मधु में शर्करा उपलब्ध रहता है कार्बोहाइड्रेट के संदर्भ में मधु में ग्लूकोज एवं फ्रक्टोज पाया जाता है।जो इसको कृत्रिम रूप से बनाए गए शुगर सीरप के समान ही होता है। शहद में घाव भरने और कटी-फटी त्वचा की बिवाईयों को भरने की शक्ति होती है।यह संक्रमण को रोकने में पूरी तरह सक्षम होता हैं। मधुमक्खी

ग़ज़ल

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बलजीत सिंह बेनाम अब ज़मी पर नहीं रूहों के मिलन की खुशबू हर जगह से मिली जिस्मों के दहन की खुशबू छुप न पाएगा मेरी आँखों को ढ़क कर के तू ख़ूब पहचानता हूँ तेरे बदन की खुशबू एक मज़दूर के मुँह से ये सुना है मैंने नींद के वास्ते काफ़ी है थकन की खुशबू

भाजपा कला संस्कृति प्रकोष्ठ के पटना महानगर अध्यक्ष बने सतीश दास

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पटना : बिहार के उभरते कलाकारों को मंच दिलाने वाले युवा उधमी व समाजसेवी सतीश कुमार दास को बिहार भाजपा कला संस्कृति प्रकोष्ठ का पटना महानगर अध्यक्ष बनाया गया है । प्रदेश कार्यालय में प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक बरूण कुमार सिंह के द्वारा नियुक्ति पत्र सौंपा गया। सतीश दास ने पार्टी से जुड़ने और भाजपा के नेतृत्व में कार्य करने पर हर्ष जताया। उन्होंने कहा कि वे प्रकोष्ठ द्वारा दिये गए हर जिम्मेवारी को पूरा करेंगे। उस अवसर पर प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक बरुण कुमार सिंह, सह संयोजक आनंद पाठक, अनंत सिंह, समेत पार्टी से जुड़े कई लोगों ने अपनी शुभकामनाएं दी।

पवन सिंह और डिम्पल सिंह की हिट जोड़ी

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भोजपुरी सिनेमा के गायकी के सिरमौर व सुपरस्टार पवन सिंह और सिने तारिका डिम्पल सिंह की जोड़ी इन दिनों काफी हिट चल रही है और यह जोड़ी दर्शकों के बीच वाहवाही  की होड़ लगी हुई है। गीत संगीत प्रेमी लोग लोकप्रिय हो रही इस नई जोड़ी को काफी पसंद कर रहे हैं और काफी सराहना भी कर रहे हैं। वर्ल्डवाइड रिकॉर्ड्स भोजपुरी म्यूजिक कंपनी के ऑफिशियल यूट्यूब चैनल से रिलीज हुआ रोमांटिक सांग मीठा मीठा बथे कमरिया के वीडियो में पवन सिंह और डिम्पल सिंह की जोड़ी जबरदस्त कामयाबी पर पहुँच चुकी है । उनकी केमिस्ट्री देखते ही बन रही है। गाने की रीदम पर उनकी परफॉर्मेंस काबिले तारीफ है। यह सांग सोशल मीडिया में काफी वायरल हो रही है और लोग काफी प्रशंसा भी कर रहे हैं। इस तरह से यह जोड़ी काफी हिट हो रही है और प्रशंसा के साथ-साथ सुर्खियां में बनी हुई है। मिल रही पॉपुलैरिटी से यह अंदाजा लगाया जा सकता है कि आने वाले दिनों में वीडियो अल्बम के गानों में व फिल्मों में पवन सिंह के साथ डिम्पल सिंह की जोड़ी दर्शक खूब पसंद करेंगे और सुपरहिट बनाएंगे। वर्ल्डवाइड रिकॉर्ड्स प्रस्तुत मीठा मीठा बथे कमरिया वीडियो सांग को अब तक 9 मिलियन स

जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज कानपुर की प्रिंसिपल का पंजीकरण रद्द करने की मांग

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कानपुर - जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज कानपुर की प्रिंसिपल डॉक्टर आरती लालचंदनी के जरिए सामाजिक ताने-बाने की बिगाड़ने की कोशिशों का संज्ञान लेते हुए इंडियन मुस्लिम फॉर प्रोग्रेस एंड रिफॉर्म्स के कार्यकारी निदेशक खालिद अंसारी ने भारत सरकार के स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन को इस संबंध में एक पत्र लिखकर उनका ध्यान आकर्षित करते हुए उनसे संज्ञान लेने की अपील की है। इम्पार के कार्यकारी निदेशक खालिद महमूद ने भारत के स्वस्थ मंत्री डॉ हर्षवर्धन के डब्ल्यूएचओ कार्यकारी बोर्ड के अध्यक्ष बनने पर इम्पार की ओर से बधाई संदेश भेजते हुए कहा है कि हमें दृढ़ता के साथ आशा है कि आपके मार्गदर्शन में, डब्ल्यूएचओ एक नई ऊंचाई पर पहुंचेगा और भारत इस स्वास्थ्य संकट से दुनिया को बाहर निकालने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। साथ ही इम्पार की ओर से पत्र में कहा गया है कि "हम एक दुर्भाग्यपूर्ण समाचार की ओर आपका ध्यान आकर्षित करना चाहते हैं। जब हमारा पूरा देश एकजुट होकर COVID-19 महामारी से लड़ने की कोशिश में जुटाए है, तो जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज, कानपुर की प्रिंसिपल, डॉ आरती लालचंदनी, सामाजिक सद्भाव को नष्ट करने और एक समुदाय

मातृ भाषा में शिक्षा न देने के दुष्परिणाम

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LockDown की छूट से लोगों और दुकानदारों में ख़ुशी

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सौफिया कोरोना योद्धाओं को मास्क देकर कर रही है सुरक्षा

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नयी दिल्ली - कोरोना,महामारी और बीते करीबन 2 महीने से चला आ रहा लॉकडाउन इस पूरे दौर ने गरीब,मज़दूर और प्रवासी लोगों को बुरी तरह से अव्यवस्थित कर दिया है,इस महामारी और लगातार चल रहे लॉक डाउन से न सिर्फ मज़दूर तबका परेशान है बल्कि इससे भी ज़्यादा लॉक डाउन ने कोरोना महामारी के दौर में समाज सेवा कर रहे लोगों को भी परेशानी में डाला हुआ है। जिसमे पुलिस,प्रशासन,हॉस्पिटल कर्मी और जगह जगह राशन पहुंचाने वाले समाज सेवी शामिल हैं,इस कमी को सबसे ज़्यादा देखा जा रहा है,लेकिन उत्तर पूर्वी दिल्ली स्थित सोफ़िया संस्था ने हमदर्द नेशनल फाउंडेशन (MREC) ने साथ मिलकर इस समस्या को हल करने की ज़िम्मेदारी उठाई है,सोफ़िया संस्था जो कि उत्तर पूर्वी दिल्ली के मुस्तफाबाद,शिव विहार,दयालपुर  यमुना विहार,नूर ए इलाही,बाबरपुर और सीलमपुर जैसे इलाकों में बीते 15 सालों से काम करती है। कोरोना महामारी के दौरान कोरोना से हिफाज़त के लिए कोरोना महामारी के दौरान लगातार काम कर रहे  हैं,जिसमे "कोरोना वोरियर्स" को फ्री में मास्क मुहैया कराते हुए उनकी सुरक्षा को ध्यान में रखते हए ये काम किया,इन मास्क में एक और खास बात ये है कि इन