संदेश

Blessings महिलाओं को बना रहा है आत्मनिर्भर

चित्र

बेंगलुरु की धरती उत्तराखंड लोक गायकों और लोक धुन की गूंज से गुंजयमान हुई

चित्र
द हंस फाउंडेशन देश के उन दूरस्थ क्षेत्रों में शिक्षा की अलख जगा रहा है। जिन क्षेत्रों तक पहुंच पाना भी आज के समय में नामुकिन सा है। लेकिन इन क्षेत्रों में शिक्षा की अलख जगा दी और सेवा की यह यात्रा जारी है। देश के साथ ही उत्तराखण्ड में स्वास्थ्य, शिक्षा, महिला सशक्तिकरण, ग्रामीण विकास, कृषक कल्याण एवं राज्य के पर्वतीय क्षेत्रों की आबादी के जीवन स्तर में सुधार लाने के लिए निरंतर प्रयासरत है। बेंगलुरू । कर्नाटक की राजधानी में ,भारत की उद्यान नगरी बेंगलुरु की धरती उत्तराखंड वाद्य यंत्रों,लोक गायकों और लोक धुन की गूंज से गुंजयमान हुई। पहाड़ के युवाओं ने उत्तराखंडी लोक सांस्कृति विरासत को दक्षिण भारत की सांस्कृति पटल में एक नयी पहचान दिलाई और इस लोक सांस्कृति मंच को अपने श्रीचरणों से कृतार्थ किया समाजसेवी एंव हंस फाउंडेशन की प्रेरणास्रोत माताश्री मंगला जी है। उत्तराखंड महासंघ बेंगलुरू के तत्वावधान में आयोजित इस भव्य लोक सांस्कृति आयोजन का उद्धघाटन में माता मंगला जी एवं सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता और समाज सेवी संजय दरमोड़ा के करकमलों द्वारा हुआ। इस मंच को अपनी स्वर लहरियों से लोक संगीत के रंग

SDMC के चारों क्षेत्रों के बच्चों ने उपराष्ट्रपति के निवास पर मनाया बाल दिवस

चित्र
नयी दिल्ली - शिक्षा समिति की अध्यक्षा डॉ नन्दिनी शर्मा के सानिध्य में एस डी एम सी के चारों क्षेत्रों के बच्चों ने उपराष्ट्रपति एम० वेंकैया नायडू के निवास पर मनाया बाल दिवस । पश्चिमी क्षेत्र के कार्यालय से नर्सरी इंचार्ज सुषमा भंडारी,प्रधानाचार्या अंजु सचदेवा ( बी 3 रघुबीर नगर) अपने 6 बच्चों के साथ उपराष्ट्रपति के निवास पर पहुंचे । बच्चों,शिक्षा अधिकारियों तथा अध्यापकों के लिए उपराष्ट्रपति एम० वेंकैया नायडू महोदय से मुलाकात करना अपने आप में ऐतिहासिक के साथ साथ बहुत ही अच्छा अनुभव रहा । मुख्यालय से डी डी ई अनिता नौटियाल  व क्षेत्रीय कार्यालय से डी डी ई रिषिपाल राणा का हार्दिक आभार जताते हुए पश्चिमी क्षेत्र के कार्यालय से नर्सरी इंचार्ज सुषमा भंडारी ने बताया कि उनके द्वारा रचित एक बाल पुस्तक " नई कहानी " उपराष्ट्रपति एम० वेंकैया नायडू महोदय को भेंट करना अपने आप में एक यादगार लम्हा बन गया ।  

वायु प्रदूषण से दिल्ली बेहाल Odd Even से नहीं निकला हल

चित्र

दिल्ली बोली एक बार फिर केजरीवाल

चित्र

राज्यसभा का 250वां सत्र शुरू,सिक्का,डाक टिकट और दो प्रकाशन जारी

चित्र
नयी दिल्ली - राज्य सभा के 249वें सत्र को पिछले कई वर्षों में सबसे अधिक उपयोगी बताते हुए नायडू ने नेताओं से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया कि इस सत्र के दौरान वे इस सकारात्मक गति को बरकरार रखें ताकि कुछ और मील की दूरी को पूरा किया जा सके। विभाग संबंधी स्थायी समितियों की बैठकों में सदस्यों की अनुपस्थिति की जानकारी का उल्लेख करते हुए, नायडू ने नेताओं से आग्रह किया कि वे सांसदों की उचित उपस्थिति सुनिश्चित करें ताकि समीति चुने गए विभिन्न विषयों और संसद की ओर से भेजे गए विधेयकों का प्रभावी तरीके से अध्ययन कर सके और उसकी जानकारी दे सके। राज्यसभा के सभापति एम. वेंकैया नायडू ने कहा है कि 1952 में अपनी स्थापना के बाद से उच्च सदन ने देश के सामाजिक-आर्थिक परिवर्तन में योगदान करते हुए एक लंबा सफर तय किया है, लेकिन अभी भी सही कामकाज की दिशा में 'मीलों' जाना बाकी है। उन्होंने यहां उपराष्ट्रपति निवास पर विभिन्न दलों और समूहों के नेताओं की एक बैठक में सदन की उपलब्धियों और इसके कामकाज पर चिंताओं को साझा किया। पिछले 67 वर्षों के दौरान उच्च सदन की यात्रा का लेखा-जोखा देते हुए, नायडू ने कहा, “195

भारत में लगभग 51000 अखबार प्रकाशित हो रहे है,लेकिन धरातल पर कुछ ही बचे हुए है

चित्र
देश में ही नहीं पूरे विश्व में आर्थिक नीतियों और भारत में सरकार  की गलत नीतियों के चलते समाचार पत्र बंद होने की कगार पर हैं नयी दिल्ली - प्रेस क्लब आफ इंडिया  में आयोजित देश भर के मान्यता प्राप्त पत्रकारों की नवगठित संस्था मान्यता प्राप्त पत्रकार एसोसिएशन द्वारा आयोजित  नेशनल प्रेस डे कार्यक्रम का उद्घाटन पूर्व केंद्रीय मंत्री प्रदीप जैन आदित्य द्वारा संपन्न हुआ , इस अवसर पर आदित्य ने पत्रकारिता कि महत्ता का वर्णन करते हुए संस्था कि गठन पर अपनी शुभककामनायें  दी l  उन्होंने कहा कि पूरे देश के दूर दराज इलाकों में बसे पत्रकारों को इसका लाभ मिलना जरूरी है ,कार्यकर्म में संस्था की स्मारिका का विमोचन भारत सरकार के पूर्व समाचार पत्र सूचना अधिकारी तथा प्रधान मंत्री के पूर्व प्रेस सलाहकार रहे एस नरेंद्रा ने किया , उन्होंने अपने उद्बोंधन में पत्रकारिता के बदलते स्वरूप को विस्तारपूर्वक  बताया , नरेंद्रा ने कहा कि सरकारी आंकड़ों के अनुसार भारत में लगभग 51000 अखबार प्रकाशित हो रहे है , लेकिन धरातल पर कुछ ही पत्र बचे हुए है । उन्होंने बताया कि देश में ही नहीं पूरे विश्व में आर्थिक नीतियों और भारत म